रायपुर: राजधानी में आज 240 प्राइवेट स्कूलों पर स्कूल शिक्षा विभाग ने बड़ी कार्रवाई की है. राजधानी रायपुर के 240 स्कूलों की मान्यता ख़त्म कर दी गई है. विभाग के द्वारा फीस निर्धारण समिति के गठन का आदेश दिया गया था लेकिन स्कूलों ने फीस बढ़ाते वक्त इस नियम की अनदेखी की जिसके चलते उक्त कार्रवाई की गई है.
जिला शिक्षा अधिकारी जीआर चंद्राकर ने बताया कि लगातार सूचना, नोटिस, नोडल ऑफिसरों की नियुक्त और ट्रेनिंग देने के बावजूद निजी स्कूलों में फ़ीस निर्धारण समिति का गठन नहीं किया. आगामी वर्ष की भर्ती प्रक्रिया जारी था. इन स्कूलों की मनमानी की शिकायत लगातार मिल रही थी. कई बार नोटिस जारी किया जा चुका था. इसलिए निर्धारित समय पर कार्य पूरा नहीं होने के बाद कार्रवाई की गई. इसके साथ ही स्कूलों में पढ़ रहे बच्चों की तमाम डिटेल और आवश्यक दस्तावेज़ स्थानीय ब्लॉक कार्यालय में जमा करने का निर्देश दिया गया है.उन्होंने बताया कि आगे अब जिन स्कूलों को मान्यता समाप्त की गई है, वहां के बच्चों के भविष्य को ध्यान में रखते हुए 15 दिन के भीतर आस-पास के स्कूलों में उनको दाखिला दिलाया जाएगा. किसी भी बच्चे का भविष्य ख़राब नहीं होगा.
कार्रवाई असंवैधानिक और निजी स्कूलों को बदनाम करने का साज़िश
इस आदेश के विरोध में छत्तीसगढ़ प्राइवेट स्कूल मैनेजमेंट एसोसिएशन के बैनर तले प्राइवेट स्कूल प्रबंधक डीईओ के तफ्तर पहुंचे. जिला शिक्षा अधिकारी को घेरने का प्रयास कर प्रबंधकों ने इस कार्रवाई को असंवैधानिक और निजी स्कूलों को बदनाम करने का साज़िश बताया है.
स्कूलों पर किए गए कार्रवाई पर सवाल उठाते हुए मान्यता समाप्त करने के आदेश को रद्द करने की मांग की है.प्राइवेट स्कूल मैनेजमेंट एसोसिएशन के अध्यक्ष राजीव गुप्ता ने कहा कि इस आदेश को सिरे से ख़ारिज किया जाए. आधी रात को मान्यता समाप्त करने से प्रश्न उठता है कि अगर नोडल काम नहीं किया है, उन पर कार्रवाई करना चाहिए था. लेकिन स्कूलों को मान्यता समाप्त कर दी गई. ये दुर्भावनापूर्ण है. ये असंवैधानिक कार्रवाई है. आज अगर जिला शिक्षा अधिकारी सूची रद्द नहीं करते हैं, तो आगे के लिए योजनाबद्ध तरीक़े से विरोध किया जाएगा.