जशपुर: छत्तीसगढ़ की जशपुर पुलिस ने मानवता को मिसाल पेश की है. दो दिन पहले सरगुजा जिला मुख्यालय अंबिकापुर में ठंड से एक निशक्त की मौत हो जाने के बाद जब मृतक के अंतिम संस्कार के लिए कोई तैयार नहीं हुआ तो जशपुर पुलिस ने संवेदना दिखाते हुए मृतक के अंतिम संस्कार की व्यवस्था की. पुलिस जवानों ने मृतक के शव को कांधा देते हुए उसका अंतिम संस्कार किया. मामला बगीचा थाना इलाके का है.
कैसे हुई मौत?
दरअसल, शनिवार को अंबिकापुर में रहने वाले अनेश गोस्वामी की कड़ाके की ठंड से मौत हो गई. जिसका शव पंचनामा अंबिकापुर पुलिस ने किया और इसकी सूचना मृतक के भाई को दी. जो जशपुर जिले के बगीचा में रहता है और गरीबी में किसी तरह अपना जीवन यापन कर रहा है. मृतक के भाई ने अंबिकापुर पहुंचकर सरकारी मदद से मृतक के शव को बगीचा लाया. लेकिन यहां निष्ठुरता की हद पार हो गई. एक निशक्त गरीब मृतक को अंतिम संस्कार के लिए कोई कांधा देने के लिए तैयार नहीं हुआ.
जब यह बात बगीचा थाना में पदस्थ एएसआई नीता कुर्रे को मिली तो उन्होंने थाना प्रभारी कुमार साय ठाकुर को इसकी जानकारी दी. इसके बाद नगर पंचायत बगीचा के साथ कुछ स्थानीय नागरिकों के सहयोग से मृतक का अंतिम संस्कार कराया गया. बगीचा पुलिस ने मृतक के शव को विधिवत कांधा दिया और अंतिम संस्कार के लिए लकड़ियों की व्यवस्था भी की. सुख में हर कोई साथ होता है पर दुख की इस घड़ी में निशक्त अनेश के अंतिम संस्कार की व्यवस्था कर जशपुर की पुलिस ने मानवता की मिसाल पेश की है.
इस संबंध में एएसआई नीता कुर्रे ने बताया कि जब वह थाना में ड्यूटी पर थी. तब दो व्यक्तियों ने उन्हें सूचना दी कि मोहल्ले में एक व्यक्ति शव लाकर घर में रखा है. इस संबंध में पता किया गया तो बगीचा में रहने वाले गोस्वामी परिवार के एक व्यक्ति का शव पड़ा हुआ था. परिजन शव के पास बैठकर रो रहे थे. उनके द्वारा कहा गया कि आसपास के लोग कोई दाह संस्कार करने के लिए तैयार नहीं है. तब मेरे द्वारा आसपास के लोगों को बोला गया कि दाह संस्कार में मदद करें. लेकिन उनके द्वारा साफ मना कर दिया गया.
तब थाना प्रभारी और अन्य स्टाफ को अवगत कराया गया. जो रात में मौके पर ही तत्काल आए. और उस दौरान रात्रि हो जाने पर शव को सुरक्षित रखवाया गया. आज सुबह हमारे और नगर पंचायत के व्यक्तियों के द्वारा शव को कांधा देकर शव का दाह संस्कार कराया.
बगीचा थाना प्रभारी कुमार साय ठाकुर ने बताया कि बगीचा निवासी सुनील गोस्वामी अंबिकापुर से अपने दिव्यांग भाई के शव को पीएम, पंचनामा कराने के बाद बगीचा अपने निवास में लाया. यहां बगीचा में कफन दफन में सहयोग के लिए कहा लेकिन कोई सहयोग के लिए तैयार नहीं हुआ. सूचना पर पुलिस मौके पर पहुंची और रात होने पर कफन दफन नहीं किया गया. दुसरे दिन नगर पंचायत के कुछ कर्मी, पुलिसकर्मी और आस पड़ोस के लोग लकड़ी और अन्य व्यवस्था कर. मृतक का अंतिम संस्कार कराया.