- JEE – NEET कॉलेजों के फाइनल ईयर की परीक्षा समेत दस से ज्यादा प्रवेश परीक्षाओं के लिए जारी नई एसओपी
- टीचर्स और स्टूडेंट्स को कोरोना मुक्त होने का देना होगा सेल्फ डिक्लेरेशन फॉर्म
नई दिल्ली: देश में फैले कोरोना वायरस के बीच एंट्रेंस एग्जाम और फाइनल ईयर एग्जाम करवाने के लिए केंद्र सरकार ने बुधवार को नई मानक संचालन प्रक्रिया (SoP) जारी की है। जारी नई गाइडलाइंस के मुताबिक कंटेनमेंट जोन में रह रहे स्टूडेंट्स और स्टाफ को एग्जाम सेंटर जाने की इजाजत नहीं होगी। ऐसे स्टूडेंट्स के लिए किसी अन्य माध्यम से परीक्षा ली जाएगी या फिर संस्थान इसके लिए परीक्षा की अलग तारीख तय करेगा।
टीचर्स और स्टूडेंट्स को देना होगा सेल्फ डिक्लेरेशन फॉर्म
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा जारी नई एसओपी के तहत सिर्फ बिना लक्षण वाले स्टूडेंट्स को ही परीक्षा में शामिल होने की अनुमति होगी। इसके लिए टीचर्स और स्टूडेंट्स को कोरोना मुक्त होने का सेल्फ डिक्लेरेशन फॉर्म देना होगा। इसके अलावा परीक्षा केंद्र में जांच के दौरान बिना लक्षण वाला कोई छात्र कोरोना संक्रमित मिलता है, तो उसे आइसोलेशन रूम में परीक्षा देनी होगी।
दस से ज्यादा प्रवेश परीक्षाओं के लिए जारी की एसओपी
नए दिशानिर्देश में यह भी कहा गया कि किसी भी गर्भवती महिला, बुर्जग और बीमार शिक्षकों की भी ड्यूटी नहीं लगेगी। दरअसल, केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने जेईई, नीट, कॉलेजों के फाइनल वर्ष की परीक्षा समेत दस से ज्यादा प्रवेश परीक्षाओं के मद्देनजर नई एसओपी जारी की है, जिसे सभी संस्थानों, विश्वविद्यालयों को नई एसओपी का पालन करना होगा।
स्वास्थ्य मंत्रालय की नई एसओपी के तहत इनका करना होगा पालन
छह फीट की दूरी के आधार पर बैठने की व्यवस्था होगी।छात्रों को बस से लाने-ले जाने से पहले उसे सैनिटाइज करना पड़ेगा।कोरोना से एहतियात बरतने के लिए संस्थानों में पोस्टर लगाना होगा।परीक्षा केंद्र पर हर कमरे में ताजी हवा के लिए खिड़की खुली रहनी चाहिए।यदि एसी है तो सभी कमरे का का तापमान 24 से 30 डिग्री होगा।इसके अलावा नमी 40 से 70 फीसदी तक हो सकती है।सभी के पास आरोग्य सेतु ऐप होना चाहिए।साथ ही भीड़ कम करने के लिए ज्यादा परीक्षा केंद्र बनाना होगा।तीन परत वाला मास्क पहनना और एल्कोहल युक्त सैनिटाइजर का उपयोग करना होगा।हर कमरे का सीटिंग प्लान के बाद परीक्षा नियंत्रक सोशल डिस्टेंस्टिंग के नियम की जांच करेंगे।ऑनलाइन परीक्षा के बाद कंप्यूटर, माउस, की-बोर्ड, डेस्क को सैनिटाइज करना जरूरी होगा।स्टूडेंट्स घर से पानी की बोतल ला सकते हैं। केंद्र पर भी पेयजल की व्यवस्था करनी होगी। डिस्पोजेबल गिलास रखना होगा।
लक्षण मिलने पर जाना होगा अस्पताल
परीक्षा केंद्र पहुंचने पर जांच के दौरान यदि किसी छात्र में सर्दी, जुकाम, बुखार या अन्य लक्षण मिलते हैं, तो उसे तुरंत अस्पताल पहुंचाने की सुविधा देनी होगी। उस छात्र की कोविड-19 जांच करवाई जाएगी। इसके बाद उसकी परीक्षा नई डेटशीट के आधार पर बाद में आयोजित की जाएगी।
72 घंटे तक नहीं खुलेगी आंसर शीट
परीक्षा पूरी होने के बाद आंसर शीट को पैक करके सैनिटाइज किया जाएगा, जिसे 72 घंटे तक नहीं खोली जाएगी। इस दौरान उन पैकेट को हाथ भी नहीं लगाया जाएगा। वहीं, प्रश्न पत्र बांटने से पहले परीक्षक को अपने हाथ धोकर सैनिटाइज करने होंगे। साथ ही प्रश्नपत्र बांटते समय दस्ताने और मास्क पहनने होंगे ।