गोरखपुर: उत्तर प्रदेश के गोरखपुर शहर में स्थित राप्ती नदी के दोनों तटों पर बने गुरु गोरक्षनाथ व श्रीराम घाट की सुंदरता देखते ही बन रही है। इन तटों पर आने वाले ही नहीं पुल से गुजरने वाले लोग भी इनके सौंदर्य को निहारे बिना आगे नहीं बढ़ पा रहे हैं।
राप्ती तट के किनारे लाल पत्थरों से बनी पालकी और गजीबो सेल्फी प्वाइंट बनने लगा है। कड़कड़ाती ठंड से निजात मिलने के बाद धूप खिली तो राप्ती तट के घाट गुलजार हो गए और यहां पूरे दिन लोगों की चहल-पहल रही।
बता दें कि राप्ती तट, जो मानव काया के अंतिम पड़ाव के रूप में जाना जाता रहा है, उसे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की विकासपरक सोच ने नया आयाम दे दिया है। इससे जहां गोरखपुर को एक नई पहचान मिलेगी, वहीं पर्यटन के नक्शे पर स्थापित होने में मदद मिलेगी।
राजघाट के बाएं तट पर हुए सुंदरीकरण व नागरिक सुविधाओं के निर्माण कार्य के बाद इस तट को महायोगी गुरु गोरक्षनाथ के नाम पर समर्पित किया गया है, जबकि इसके ठीक समानांतर नदी के दाएं तट पर हुए सुंदर निर्माण कार्य के बाद घाट को श्रीराम के नाम पर रामघाट नाम दिया गया है। दोनों घाटों के साथ अंत्येष्टि स्थल के लिए राजघाट भी बनाया गया है।
बता दें कि सोमवार को दिन का पारा चढ़कर 28 डिग्री पार कर गया। ऐसे में दिनभर थोड़ी गर्मी महसूस होती रही, लेकिन करीब 12 किलोमीटर की रफ्तार से चली पछुवा हवा राप्ती नदी के पानी से टकराकर गुलाबी ठंड का एहसास कराती रही।
ऐसे में महायोगी गोरक्षनाथ घाट पर काफी संख्या में लोग पहुंचे और गोरखपुर के इस नए पर्यटन स्थल का आनंद उठाते रहे। युवा लड़के और लड़कियां यहां बने राजस्थान के लाल पत्थर के गजीबो और पालकी के साथ सेल्फी लेने में मशगूल रहे। हालांकि शाम ढलने के साथ ही भीड़ कम होती चली गई।