7 दिन में 17 किए खर्च, फिर भी नहीं बचा पाए जान, डेढ साल के कोरोना संक्रमित बेटे को मुखाग्नि देते देख भर आई लोगों की आंखें

गोरखपुर: कोरोना की महामारी ने पूरे देश में हाहाकार मचा रखा है। कई लोगों ने अपने स्वजनों को खो दिया है। कई ऐसी मार्मिक तस्वीरें ऐसी हैं, जिसे देखकर दिल भर आता है। ऐसा ही एक मामला गोरखपुर से सामने आ रहा है। जहां माता-पिता की कोरोना से मौत होने के बाद संक्रमित डेढ़ वर्षीय बेटे ने उन्हें श्मशान घाट में मुखाग्नि दी।

मिली जानकारी के अनुसार पादरी बाजार में रहने वाले 37 वर्षीय अजय जायसवाल और उनकी पत्नी अंशिका 35 वर्ष की कुछ दिनों पहले ही कोरोना रिपोर्ट पाॅजीटिव आयी थी। जांच में उनकी 6 वर्षीय बेटी गुनगुना और डेढ साल का बेटा आनंद भी पाॅजीटिव निकले। दंपत्ति के फेफड़े में 70 प्रतिशत तक संक्रमण फैल गया था। उन्हें तुरंत राजेन्द्र नगर के प्राइवेट हाॅस्पिटल में एडमिट कराया गया, जहां स्थिति बिगड़ने के बाद छात्रसंघ चैराहे स्थित एक निजी हाॅस्पिटल रेफर कर दिया गया।

दंपति की स्थिति लगातार बिगड़ती जा रही थी, जिसके बाद परिजनों ने अमेरिका के डाॅक्टरों से भी संपर्क किया। 7 दिन में 17 लाख रूपये खर्च हो गए लेकिन वे दोनों जिंदगी की जंग हार गए। उनकी मौत के बाद डेढ साल के बच्चे ने अपने माता-पिता का अंतिम संस्कार किया। जिस किसी ने बच्चे को घाट पर मुखाग्नि देते देखा, उसकी आंखों से आंसू छलक गए।

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