रायपुर : राज्य सरकार एवं एक आईएएस की मानवीय पहल से छह वर्षीय मन्शवी सकुशल अपने अभिभावक के पास पहुंच गई है। श्रम विभाग के सचिव एवं नोडल अधिकारी सोनमणी बोरा के संज्ञान में आने के बाद इस पर की गई त्वरित कार्यवाही से मन्शवी अपने परिजन के पास पहुंच सकी है। मन्शवी के सकुशल घर पहुंचने पर परिजनों ने राज्य सरकार के प्रति आभार व्यक्त किया है।
दरअसल बात यह है कि जशपुर जिले के बगीचा में अपने रिश्तेदारों के यहां पिछले कई दिनों से रूकी कोरिया (मनेन्द्रगढ़) की मन्शवी को उनके अभिभावक मनेन्द्रगढ़ लाने के लिए प्रयासरत थे, लेकिन लाॅकडाउन के कारण अभिभावक और बच्ची मन्शवी नहीं मिल पा रहे थे। श्रम सचिव सोनमणी बोरा के संज्ञान में यह बात सामने आते ही उन्होंने तत्काल संबंधित अधिकारियों को बच्ची मन्शवी को सकुशल अभिभावक के पास भेजने के लिए उचित व्यवस्था करने के निर्देश दिए। आईएएस सोनमणी बोरा की विशेष पहल पर बच्ची मन्शवी बगीचा से मनेन्द्रगढ़ अपने अभिभावक के पास सकुशल पहुंच गई।
उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल एवं मंत्री शिवकुमार डहरिया के निर्देशन में लाॅकडाउन से उत्पन्न परिस्थितियों के कारण स्कूली बच्चें, श्रमिक तथा कई परिवार घोषित लाॅकडाउन के समय से जहां थे वहीं फसे हुए है। लेकिन मन्शवी के अभिभावक मानवीय दृष्टिकोण रखते हुए उनकी बच्ची को जशपुर जिले के बगीचा से कोरिया (मनेन्द्रगढ़) लाने हेतु अनुमति प्रदान करने का आग्रह किया था। इसकी सूचना आईएएस सोनमणी बोरा तक जैसे ही पहुंची उन्होंने तत्काल कोरिया कलेक्टर को निर्देशित किया गया कि अभिभावक को बच्ची मन्शवी को घर वापस लाने के लिए अनुमति प्रदान किया जाए।
जशपुर जिला प्रशासन द्वारा बच्ची मन्शवी को कोरिया (मनेन्द्रगढ़) ले जाने के लिए अनुमति प्रदान कर दी गई। अनुमति मिलते ही बिना देर किए बच्ची को सकुशल अपने घर मनेन्द्रगढ़ लाकर अभिभावक अब बहुत खुश हैं। सरकार द्वारा मानवीय दृष्टिकोण को ध्यान में रखते हुए बच्ची मन्शवी को जशपुर जिले के बगीचा से मनेन्द्रगढ़ लाने अनुमति प्रदान करने के लिए मन्शवी के परिजनों ने धन्यवाद दिया और कहा कि राज्य शासन के सभी प्रशासनिक अधिकारी हर समय मदद के लिए तत्पर रहते है। मन्शवी के परिजन ने कहा कि तत्परता के साथ कार्य करने के लिए अधिकारियों-कर्मचारियों और राज्य सरकार के प्रति आभार व्यक्त किया है।